छात्राओं को महिला-अधिकारों के प्रति जागरूक करने हेतु महिला प्रकोष्ठ द्वारा वीडियो कांफ्रेंस का आयोजन
राजकीय महिला स्नातकोत्तर महाविद्यालय कांधला (शामली) में आज दिनाँक 04/07/2020 को महिला प्रकोष्ठ के तत्वावधान में मानव संसाधन विकास मंत्रालय एवं यू.जी.सी. के निर्देशानुसार 'लैंगिक पक्षपात, लैंगिक समानता, लैंगिक रूढ़िवादिता एवं महिलाओं के अधिकार व महिला कानून' विषय पर एक वीडियो कांफ्रेंस आयोजित की गई। वीडियो कांफ्रेंस का शुभारंभ सरस्वती वंदना के साथ हुआ। सर्वप्रथम महिला प्रकोष्ठ की संयोजिका डॉ. दीप्ति चौधरी ने कांफ्रेंस में सम्मिलित सभी सहभागियों को संबोधित करते हुए कहा कि भारतीय संविधान के अंतर्गत महिलाओं को बहुत सारे अधिकार प्राप्त हैं तथा उन अधिकारों को प्राप्त कराने हेतु बहुत से कानून भी बनाए गए हैं। इन सभी कानूनों एवं अधिकारों की जानकारी प्रत्येक महिला को होनी चाहिए परंतु साथ ही उन्हें अपनी जिम्मेदारियों का भी निर्वहन करना चाहिए। समाज में बदलाव हेतु सभी को अपनी सोच सकारात्मक रखनी होगी।
इनके उपरांत महिला प्रकोष्ठ की सदस्य श्रीमती सीमा सिंह ने अपने संबोधन में बताया कि कोविड-19 एवं लॉकडाउन के कारण हमारी सामाजिक एवं आर्थिक स्थिति में बदलाव आए हैं जिनके कारण महिलाओं के विरुद्ध हिंसा के आंकड़े भी बढ़े हैं। इन विपरीत परिस्थितियों में बदलाव हेतु सभी को सकारात्मक सोच रखनी चाहिए। साथ ही महिलाओं को अपने स्वास्थ हेतु पौष्टिक भोजन एवं उचित व्यायाम पर ध्यान देना चाहिए।परिवार के सदस्यों को भी महिलाओं पर बढ़े कार्यस्थल एवं घर की जिम्मेदारियों के भार को कम करने हेतु सहयोग करना चाहिए।
तदुपरांत महिला प्रकोष्ठ की दूसरी सदस्य श्रीमती अंशु सिंह ने महिलाओं के स्वास्थ्य संबंधी अपने संबोधन में अनेक रोगों जैसे ब्रेस्ट कैंसर, यूटरस कैंसर, सर्वाइकल कैंसर, पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम, एनीमिया आदि रोगों के लक्षण एवं ध्यान रखने योग्य बातों पर चर्चा की। महिलाओं को कुपोषण के संबंध में जागरूक होना चाहिए। विशेषकर गर्भवती महिलाओं को अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखना चाहिए।
इन सभी विशेष व्याख्यानों के उपरांत महाविद्यालय की छात्राओं ने भी अपने विचार व्यक्त किए।बी.ए. द्वितीय वर्ष की कु. शालू, कु.काजल, कु. संध्या एवं बी.ए. तृतीय वर्ष की कु.वसुंधरा ने अपने विचारों को अभिव्यक्ति देते हुए महिला अधिकारों, महिला शिक्षा एवं लैंगिक पक्षपात से संबंधित विभिन्न तथ्यों के साथ-साथ अपनी स्वरचित कविताओं को प्रस्तुत किया।
कार्यक्रम के अंत में प्राचार्य प्रो.(श्रीमती) प्रमोद कुमारी ने अपने अध्यक्षीय संबोधन में कहा कि आज लड़कियों को समाज में अपने शैक्षिक उन्नयन के साथ-साथ परिवार व समाज की मर्यादाओं को ध्यान में रखते हुए अपना लक्ष्य निर्धारित करना है। एक राष्ट्र की उन्नति का आंकलन वहां की महिलाओं को प्राप्त अधिकारों एवं महिलाओं के आर्थिक व सामाजिक उन्नति के आधार पर ही हो सकता है।
कार्यक्रम के अंत में संयोजिका डॉ दीप्ति चौधरी ने सभी को धन्यवाद ज्ञापित किया तथा राष्ट्रगान के गायन के साथ इस वीडियो कॉन्फ्रेंस का समापन हुआ। कॉन्फ्रेंस में महाविद्यालय के प्राध्यापकगण एवं छात्राओं ने सहभागिता की।