राजकीय महिला स्नातकोत्तर महाविद्यालय कांधला में आज दिनांक 22 अप्रैल 2025 को डॉक्टर भीमराव अंबेडकर जयंती के उपलक्ष में चल रहे 15 दिवसीय कार्यक्रम के अंतर्गत एक विशेष व्याख्यान का आयोजन सद्भावना कल्चरल क्लब के अंतर्गत किया गया। इस विशेष व्याख्यान में डॉ रामायण राम, हिंदी विभाग प्रभारी ने छात्राओं का 'डॉ भीमराव अंबेडकर जी के लेखन' के विषय में मार्गदर्शन किया। उन्होंने बताया कि किस प्रकार अंबेडकर जी ने जाति व्यवस्था की प्रथा के बीच रहकर अनेक संघर्षों के बीच में देश विदेश में अपना अध्ययन पूर्ण किया। अंबेडकर जी का लेखन हमें उनकी विस्तृत विचारधारा के विषय में अवगत कराता है। उन्होनें महिला सशक्तिकरण एवं सामाजिक उत्थान हेतु अनेक आधुनिक विचारधारा सम्बन्धी प्रयासों की शुरुआत की।
अंबेडकर जी के लेखन का भारतीय समाज में अतुलनीय स्थान है।उन्हें दलित अधिकारों, सामाजिक न्याय और समानता के लिए प्रेरणा के रूप में देखा जाता है। उन्होंने कानून, अर्थशास्त्र, धर्म, और सामाजिक मुद्दों पर लिखा। अंबेडकर जी की प्रमुख पुस्तकें एनीहिलेशन ऑफ कास्ट (जाति का विनाश),बुद्ध एंड हिज़ धम्म (बुद्ध और उनका धर्म),द अनटचेबल: हू आर दे एंड. व्हाय दे हैव बिकम अनटचेबल्स (अछूत: वे कौन हैं और वे अछूत क्यों बने) आदि में जाति-आधारित भेदभाव के खिलाफ उनके तर्क, बुद्ध धर्म व दर्शन, अस्पृश्यता के सामाजिक और आर्थिक कारणों का विश्लेषण किया गया है।अम्बेडकर जी अपनी मूकनायक, बहिष्कृत भारत, समता, जनता आदि पत्रिकाओं एवं "अछूत कौन हैं और वे अछूत क्यों बने", "भारतीय समाज में जाति व्यवस्था", "भारतीय संविधान का मसौदा" आदि लेखों के लिए भी प्रसिद्ध हैं।
कार्यक्रम का संचालन सद्भावना कल्चरल क्लब प्रभारी डॉ दीप्ति चौधरी द्वारा किया गया एवं उक्त व्याख्यान में महाविद्यालय की छात्राओं के साथ डॉ अंकिता त्यागी एवं डॉ श्याम बाबू भी उपस्थित रहे।